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18 साल बाद हिरण शिकार के दो केस में हाईकोर्ट से बरी, जेल जाने से बचे सलमान

जोधपुर.राजस्थान हाईकोर्ट ने 1998 के हिरण शिकार से जुड़े दो मामलों में आज सलमान खान को बरी कर दिया। लोअर कोर्ट ने सलमान को भवाद शिकार मामले में एक साल और घोड़ा फार्म हाउस शिकार मामले में 5 साल की सजा सुनाई थी। अगर सलमान दोषी करार दिए जाते तो उन्हें तुरंत जेल जाना पड़ सकता था। ‘हम साथ-साथ हैं’ की शूटिंग के दौरान हुए इस शिकार से जुड़े कुल चार मामले सलमान के खिलाफ चल रहे हैं। शिकार और आर्म्स एक्ट के एक-एक केस में सलमान अब भी आरोपी हैं।सलमान की बहन पहुंचीं जोधपुर…
– हाईकोर्ट के फैसले के बाद सलमान को काकाणी गांव में काले हिरण शिकार और आर्म्स एक्ट केस में भी राहत मिलने की उम्मीद बढ़ गई है।
– सुनवाई के दौरान सलमान जोधपुर नहीं पहुंचे, लेकिन उनकी बहन अलवीरा यहां मौजूद थीं। जस्टिस निर्मलजीत कौर ने फैसला सुनाया।
– हाईकोर्ट ने इस मामले में अहम गवाह हरीश दुलानी से जिरह करने का मौका सलमान के वकीलों को नहीं मिल पाने को अहम माना।
– दोनों मामलों में 12 आरोपियों में से 11 के बरी होने का फायदा भी सलमान को मिला।
18 साल में 18 दिन जेल में काटे
– हिरण शिकार के 3 मामलों में सलमान पुलिस ज्यूडिशियल कस्टडी में 18 दिन जेल में रह चुके हैं।
– 6 दिन :वन विभाग ने सलमान को पहली बार 12 अक्टूबर 1998 को हिरासत में लिया था। वे 17 अक्टूबर तक जेल में रहे।
– 6 दिन :घोड़ा फार्म मामले में 10 अप्रैल 2006 को सलमान को लोअर कोर्ट ने पांच साल की सजा सुनाई। इसके बाद उन्हें जेल में रहना पड़ा।
– 6 दिन :सेशन कोर्ट ने इस सजा की पुष्टि की। तब 26 से 31 अगस्त 2007 तक सलमान जेल में रहे।
5 बातें जिनसे सलमान को हुआ फायदा
1. जिन्होंने मुकदमा कराया वो गायब
– वन अधिकारी ललित बोड़ा ने दवा कारोबारी अरुण के ड्राइवर हरीश दुलानी के बयान पर शिकार के मुकदमे दर्ज कराए थे।
– वन विभाग ने मजिस्ट्रेट के सामने बयान करवाने के बाद उसे छोड़ा था।
– डिफेंस की ओर से उसका क्रॉस एग्जामिनेशन ही नहीं हुआ, वह गायब हाे गया।
2. बाकी अारोपी बरी तो ये दोषी कैसे
– मुंबई के रहने वाले सलमान शिकार के लिए कैसे उम्मेद पैलेस से निकले और उन्हें कैसे पता चला कि हिरण यहां मिलेंगे? कोई तो उन्हें ले गया होगा?
– जब दूसरे बरी हो गए तो सलमान अब तक आरोपी क्यों है?
– भवाद और घोड़ा फार्म हाउस के मुकदमों में सलमान के साथ 12 लोग आरोपी थे। 10 काे बेनिफिट ऑफ डाउट मिल चुका था। इसलिए सलमान का केस मजबूत हो गया।
3. सजा बढ़ाने की अपीलें क्यों?
– सरकार ने सलमान की एक साल की सजा को कम माना। सजा बढ़ाने और 11वें आरोपी गोरधन सिंह को फिर से आरोपी मानने के लिए दो अपीलें कर दी।
– हालांकि, सरकार ने गोरधन की तरह उन 10 लोगों को फिर से आरोपी बनाने की अपील नहीं की जिन्हें बेनिफिट ऑफ डाउट के चलते बरी किया जा चुका था।
– प्रॉसिक्यूशन के पास इसका ठोस जवाब नहीं था।
4. जिप्सी सर्च की अलग रिपोर्टें
– शिकार के बाद वन विभाग ने जिप्सी जब्त कर तलाशी ली। इसकी सर्च रिपोर्ट में सिर्फ खून के धब्बे मिले।
– बाद में पुलिस ने भी जिप्सी की तलाशी ली तो उन्हें जिप्सी में छर्रे हिरण के बाल मिल गए जो वन विभाग की तलाशी में नहीं मिले।
– ऐसे दोनों सर्च रिपोर्ट भी अलग-अलग हो गई।
5. छर्रे अलग, चाकू भी छोटा
– पुलिस को उम्मेद भवन में सलमान के कमरे की तलाशी में बंदूक की गोलियां मिली थीं। जिप्सी में मिले छर्रे उन गोलियों के नहीं थे।
– हिरण का गला रेतने वाला चाकू बरामद किया था। जब्ती में रखा चाकू पॉकेट वाला निकला, जिससे गला रेतना मुश्किल होता है।
इन दो मामलों में सलमान बरी
– भवाद में शिकार:सलमान पर 27 सितंबर 1998 की रात जोधपुर से सटे भवाद गांव की सरहद पर एक हिरण का शिकार करने का आरोप। 17 फरवरी 2006 को सीजीएम कोर्ट ने एक साल की सजा सुनाई।
– घोड़ा फार्म में शिकार:सलमान पर 28 सितंबर 1998 की रात घोड़ा फार्म (ओसियां क्षेत्र) के पास दो हिरणों के शिकार का आरोप। 10 अप्रैल 2006 को सीजेएम कोर्ट ने सलमान को दोषी करार देते हुए उन्हें पांच साल की सजा सुनाई।