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(climate of karnal):

4 दिन से खराब चल रही करनाल की आबोहवा

करनाल । पिछले वर्षों (climate of karnal) के आंकड़ों को सामने रखकर कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के अधिकारी इस बार अपनी लचर कार्यप्रणाली को बचाने का प्रयास कर रहे हैं।

पराली जलाने को लेकर जिले के अलग-अलग क्षेत्रों में खेतों से धुंआ (climate of karnal) उठ रहा था। अधिकारियों की कार्यवाही बैठकों तक ही सीमित रही।

जिले में पराली में आग लगने की 83 घटनाएं हुई थी जबकि गत वर्ष अवधि में 343 घटनाएं थी। इस साल अब तक करीब 75% कम हुई हैं। बीते कई वर्षों से पराली प्रबंधन को लेकर प्रदेश सरकार सहित सभी सरकारी विभाग प्रयास कर रहे हैं।

वातावरण संरक्षण के नाम पर करोड़ों रुपए पानी की तरह बहा दिए गए। लापरवाह अधिकारियों पर कार्रवाई की जाती। लेकिन मुख्य अधिकारी भी जानते हैं कि सीजन में किस तरह अभियान की लीपापोती करनी होती है।