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industrial development authority : उप विभाजन की नई नीति को स्वीकृति, जाने क्या है खबर

नोएडा। industrial development authority : उप विभाजन की नई नीति को स्वीकृति, जाने क्या है खबर… यूपी में निवेश प्रोत्साहन व नई औद्योगिक इकाइयों के विस्तार के लिए औद्योगिक भूखंडों के उप विभाजन की बहुप्रतीक्षित नई नीति (संशोधित) को मंजूरी दे दी गई है। उत्तर प्रदेश राज्य औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीएसआईडीए) ने अपने बोर्ड की मंजूरी के बाद संशोधित नीति को कार्येत्तर अनुमोदन के लिए सरकार को भेज दिया है। साथ ही राज्य कैबिनेट की अनुमति की प्रत्याशा में इसे तत्काल प्रभाव से लागू कर दिया गया है। गाजियाबाद में लगभग 200-300 एकड़ अनुपयोगी पड़े बड़े भूखंड पर छोटे भूखंड बन कर दूसरे उद्यमियों को उपलध हो सकेंगे।

industrial development authority : यूपी में औद्योगिक भूखंडों के उप विभाजन की नई नीति को स्वीकृति

प्राधिकरण के एक अधिकारी ने यहां बताया कि बोर्ड ने ऐसे भूखंडों के उप विभाजन की अनुमति का फैसला किया है, जिन पर कम से कम चार वर्ष से औद्योगिक इकाई संचालित है। कुछ मामले में शर्तों के साथ छूट का भी प्रावधान है। यदि उप-विभाजित क्षेत्र 25 एकड़ तक है तो इसके लिए गठित समिति की सिफारिश पर प्राधिकरण के सीईओ मंजूरी देंगे। यदि उप-विभाजित क्षेत्र 25 एकड़ से अधिक है, तो इसे प्राधिकरण बोर्ड मंजूरी देगा।

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प्राधिकरण ने नीति में उपखंड के लिए आवेदन की शर्तें, आंतरिक विकास, स्थानांतरण की प्रक्रिया, विभाजित भूखंड बेचने की शर्तें, रखरखाव कार्य, उप-विभाजित भूखंड पर इकाई के संचालन के लिए समय की अनुमति, उप प्रभार शुल्क, उप विभाजन शुल्क, उपविभाजित भूखंडों के कान्फिगरेशन व सेटबैक संबंधी प्रावधान भी किए हैं। इस नीति से सक्रिय औद्योगिक इकाइयों के विस्तार, उपलब्ध अतिरिक्त भूखंड के औद्यगिक उपयोग के साथ उद्यमी परिवारों में तेज उद्यम विस्तार की राह खुलने की उम्मीद है।

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4000 वर्ग मीटर के वे भूखंड उप विभाजित होंगे जिन पर 4 वर्ष तक इकाई संचालित रही हो। भूखंड 18 मी. रोड पर होने चाहिए। न्यूनतम 450 वर्ग मीटर के भूखंड सृजित किए जा सकेंगे। आंतरिक विकास के लिए 18 से 36 महीने का समय दिया जाएगा। आवंटित भूखंड का अधिकतम 75 प्रतिशत उप विभाजित किया जा सकेगा।

industrial development authority : निवेश को मिलेगा प्रोत्साहन

भूखंडों की बिक्री को 2 से 3 वर्ष का समय मिलेगा। इसके बाद समय विस्तार की सुविधा। उप विभाजन शुल्क प्रचलित दर पर 7.5 से 20 प्रतिशत तक होगा। 50 प्रतिशत अनुमोदन के समय व 50 प्रतिशत पूरा करने पर देना होगा। विभाजित भूखंड पर एनसीआर में हस्तांतरण शुल्क प्रचलित दर का 15 प्रतिशत व एनसीआर से अलग क्षेत्रों में 10 प्रतिशत।

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कुछ शर्तों के साथ उप विभाजित भूखंड के भी उप विभाजन की सुविधा। परिवार-साक्षीदार से जुड़े भूखंड के विभाजन में उप विभाजन की अर्हता में छूट, कामन एरिया सरेंडर न किया जाए तब तक रख रखाव। प्रदेश सरकार की विभिन्न नीतियों के तहत परिभाषित ‘मेगा या अधिक निवेश’ के तहत आने वाली परियोजनाओं के लिए भूखंड के उपखंड के मामले में भी छूट दी जाएगी।