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(Strange case)
(Strange case)

बिहार के इस गांव में अजीबोगरीब मामला(Strange case)

गोपालगंज. बिहार के गोपालगंज से एक अजीबोगरीब मामला (Strange case) सामने आया है. गोपालगंज के सिधवलिया प्रखंड के हरपुर टेग्रही गांव में एक कुत्ते ने 8 बच्चे को जन्म दिया है. इनमें से 7 बच्चों की शक्ल और हरकत कुत्ते के बच्चों जैसी है, जबकि एक बच्चे की शक्ल बकरी के बच्चे जैसे ही है. इसे देखने के लिए आसपास के लोगों का भीड़ उमड़ रही है. गांव के लोग यह समझ ही नहीं पा रहे हैं कि आखिर ऐसा कैसे हो सकता है. गांव वालों का कहना है कि बकरी जैसा दिखने वाले बच्चे को हमलोग वन विभाग को सुपुर्द कर देंगे, ताकि इसकी जांच कर पता लगाया जा सके. तो वहीं, एक्सपर्ट बताते हैं कि बकरी 6 महीने पर बच्चों को जन्म देती है और कुत्तिया 3 महीने पर. इस अजीब घटना के बाद पशुओं के डॉक्टर भी परेशान हैं कि यह कैसे संभव हो सकता है?
बच्चे को अलग रखे हुए हैं ग्रामीण
बताया जा रहा है कि जिस कुत्ते ने इस अजीब बच्चे को जन्म दिया है, वह गांव में ही रहती है और आसपास के लोग उसको खिलाते हैं. इसने छठ के कुछ दिन पूर्व शंभू दास के घर के पीछे बने बेरही के नीचे बच्चों को जन्म दिया था. अमूमन देखा जाता है की जब गांव में कुत्ते बच्चे को जन्म देती है, तो लोग उनमें से सबसे बढ़िया बच्चे ले जाकर अपने घर पर पालते हैं. उसी तरह इन बच्चों को देखने के लिए लोग जब गए तो देखा कि इसमें एक बकरी का बच्चा भी है. तब लोगों को लगा कि किसी का बकरी का बच्चा होगा, जो कि यहां आ गया होगा.

लोगों ने गांव में अगल-बगल कई लोगों से पूछा, लेकिन यह बच्चा किसी का नहीं था. तब इस बच्चे को शंभू दास अपने घर ले आए. शंभू दास ने बताया कि कल मादा कुत्ता आई और ढाका में रखे बच्चे को अपने मुंह में दबाकर गांव के ही बांसबाड़ी लेकर चली गई. इसके बाद स्थानीय लोगों ने फिर उस बच्चे को उससे छुड़ाकर लाया और शंभू दास के ही घर पर रख दिया.

दुविधा में फंसे ग्रामीण
यह घटना इलाके में चर्चा का विषय बना हुआ है. गांव के लोग भी दुविधा में पड़े हुए हैं कि आखिर इस बकरी जैसा दिखने वाले बच्चे का क्या किया जाए? उनका कहना है कि अगर इसे पाल-पोस कर बड़ा किया जाए तो हो सकता है कि कुत्ते का दूध पीने की वजह से इसमें भी कुत्ते की तरह ही विषैलापन आ गया हो. अगर इसको ऐसे छोड़ दिया जाए तो भी इसका अगला संतान विषैला ही पैदा होगा, तो भी खतरा है. गांव वालों ने बताया कि इसको अभी हमलोग दूध पिला कर रखे हुए हैं, लेकिन इसको वन विभाग को सुपुर्द कर देंगे.