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(गृह मंत्री )
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पाकिस्तानी गृह मंत्री ने खोली अपनी ही सेना की पोल(गृह मंत्री )

इस्‍लामाबाद. पाकिस्‍तान के अंतरिम आंतरिक मंत्री  (गृह मंत्री ) सरफराज बुगती ने सोमवार को कहा कि सेना प्रमुख ने “अपने लोगों” से कहा था कि सीमा पार तस्करी में शामिल सुरक्षा कर्मियों को कोर्ट मार्शल और गिरफ्तारी का सामना करना पड़ेगा. इस महीने की शुरुआत में, अंतरिम सरकार ने तस्करों, जमाखोरों और अवैध आप्रवासियों पर बड़े पैमाने पर कार्रवाई शुरू करने का फैसला किया, साथ ही उन नागरिकों के लिए नकद इनाम की भी घोषणा की जो इन गतिविधियों के बारे में जानकारी प्रदान करेंगे.

कार्यवाहक प्रधान मंत्री अनवारुल हक काकर ने भी संबंधित अधिकारियों को चीनी, पेट्रोलियम उत्पादों, यूरिया, कृषि उत्पादों और दैनिक उपयोग की अन्य वस्तुओं की तस्करी पर सख्ती से अंकुश लगाने का निर्देश दिया था. इस्लामाबाद में एक संवाददाता सम्मेलन के दौरान एक सवाल के जवाब में, बुगती ने कहा कि अगर मैं कहता हूं कि सीमा सुरक्षा बल तस्करी में शामिल नहीं थे, तो यह सही नहीं होगा क्योंकि इतस्करी वस्तुओं को ट्रकों के माध्यम से ले जाया जाता है.

न केवल कोर्ट-मार्शल होगा बल्कि जेल भी भेजेंगे
पाकिस्तान के सेना प्रमुख ने अपने लोगों से स्पष्ट रूप से कहा है कि न केवल कोर्ट-मार्शल होगा, बल्कि ऐसी गतिविधियों में शामिल लोगों को जेल भी भेजा जाएगा. बुगती ने कहा कि सेना के भीतर जवाबदेही का तरीका सार्वजनिक मामला नहीं था इसलिए यह सार्वजनिक जानकारी में नहीं आया. हालांकि, उन्होंने कहा कि 9 मई की हिंसा के बाद सेना की जवाबदेही प्रणाली देखी गई. बढ़ते आतंकवाद पर, मंत्री ने कहा कि इस मुद्दे के समाधान के लिए शीर्ष समिति की कई बैठकें आयोजित की जा रही हैं, उन्होंने वादा किया कि “आने वाले दिनों में आप बदलाव देखेंगे”. उनका बयान तब आया है जब देश हाल के दिनों में बलूचिस्तान और खैबर पख्तूनख्वा में घातक बम विस्फोटों से जूझ रहा है.

मस्‍तुंग में आत्‍मघाती विस्फोट में गई थीं कई जानें
पिछले हफ्ते, बलूचिस्तान के मस्तुंग में 12वें रबीउल अव्वल जुलूस को निशाना बनाकर किए गए एक भयानक आत्मघाती विस्फोट में एक पुलिस अधिकारी सहित 50 से अधिक लोगों की जान चली गई. मस्तुंग से पांच घंटे की दूरी पर स्थित झोब में एक ऑपरेशन के दौरान पाकिस्तान सेना के चार सैनिक भी शहीद हो गए. उसी दिन, दूसरा बम हमला केपी के हंगू में हुआ, जिसमें शहर के एक पुलिस स्टेशन की मस्जिद को निशाना बनाया गया. विस्फोट के प्रभाव में मस्जिद की छत गिरने से पांच लोग मारे गए और 12 घायल हो गए. जबकि एक जांच से पता चला कि हंगू हमले के पीछे इस्लामिक स्टेट खुरासान का हाथ था.

मस्तुंग बमबारी और अन्य आतंकवादी घटनाओं की जांच की जा रही
सूचना मंत्री मुर्तजा सोलांगी के साथ आज मीडिया वार्ता के दौरान बुगती ने कहा कि वह कल मीडिया वार्ता में बढ़ते आतंकवाद के मुद्दे को संबोधित करेंगे. “हमारे पास सीमित समय और सीमित जनादेश है और हम उन चीजों को ठीक करना चाहते हैं जो दैनिक आधार पर होती हैं. मुझे कहना होगा कि हमारे मन में किसी के प्रति कोई नरमी नहीं है, चाहे वह कितना भी प्रभावशाली क्यों न हो.” एक सवाल के जवाब में, आंतरिक मंत्री ने कहा कि मस्तुंग बमबारी और अन्य आतंकवादी घटनाओं की जांच की जा रही है.

साहस का परिचय देकर आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई जीती
उन्होंने आगे कहा, ”किसी भी तरह की हिंसा क्यों न हो, हमारे सुरक्षा बलों के पास क्षमता है और उन्होंने साहस का परिचय देकर आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई जीती है. “मेरा दृढ़ विश्वास है कि हमारे दुश्मन के पास ज्यादा क्षमता नहीं है.” बुगती ने “हमारे समाज में विभाजन” पर भी दुख व्यक्त किया और इसे समाप्त करने का आह्वान किया. “केवल राज्य ही हिंसा कर सकता है और यह हमारी सहमति है. इसके लिए जीरो टॉलरेंस है. आप आने वाले दिनों में बदलाव देखेंगे.’’ उन्होंने कहा कि पाकिस्तान सभी आतंकवादियों को हटाने के लिए प्रतिबद्ध है. “अगर कोई बंदूक की नोक पर अपना एजेंडा थोपना चाहता है, तो वह गलत है. केवल संविधान ही कायम रहेगा.” एक बिंदु पर, मंत्री ने यह भी कहा कि हालिया हमले “अप्रत्याशित” नहीं थे क्योंकि पाकिस्तान ने “कठोर राज्य” बनने का फैसला किया था इसलिए “प्रतिक्रिया होनी ही थी”.