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महाराष्ट्र में लगेगा 21 दिन का लोकडाउन, मुख्यमंत्री का फैसला 14 अप्रैल को

मुंबई :महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने रविवार को कहा कि प्रदेश में लॉकडाउन लगाने के संदर्भ में उचित फैसला 14 अप्रैल के बाद लिया जाएगा। वायरस की कड़ी तोड़ने के लिए मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की अध्यक्षता में हुई कार्यबल की डिजिटल बैठक में लॉकडाउन लगाने समेत विभिन्न मुद्दों पर चर्चा हुई। बैठक के बाद टोपे ने यह जानकारी दी।
मंत्री ने कहा-बैठक में लॉकडाउन की अवधि और इससे होने वाली आर्थिक गिरावट से कैसे निपटना है, इस पर चर्चा हुई, कार्य बल का मानना है कि राज्य में लॉकडाउन की जरूरत है। मुख्यमंत्री कार्यालय के एक ट्वीट में कहा गया-प्रदेश कार्य बल के साथ बैठक में मुख्यमंत्री ने ऑक्सीजन व बिस्तरों की उपलब्धता, रेमडेसिविर के इस्तेमाल, उपचार के नियमों, उपलब्ध केंद्रों की क्षमता बढ़ाने, कोविड नियमों के उल्लंघन पर पाबंदियां और जुर्माना लगाने पर चर्चा की।
बैठक में राज्य के चिकित्सा शिक्षा मंत्री अमित देशमुख, मुख्य सचिव सीताराम कुंटे और अन्य लोगों ने हिस्सा लिया।

ठाकरे का सोमवार को वित्त और अन्य सरकारी विभागों से परामर्श करने का कार्यक्रम है। टोपे ने कहा कि कार्य बल की बैठक के दौरान राज्य में ऑक्सीजन उत्पादन संयंत्र स्थापित करने पर भी चर्चा हुई। प्रदेश सरकार ने पिछले हफ्ते कुछ पाबंदियों की घोषणा की थी जिनमें सप्ताहांत पर लॉकडाउन, रात्रि कर्फ्यू और दिन में निषेधाज्ञा शामिल हैं। ये पाबंदियां 30 अप्रैल तक जारी रहेंगी।

महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री असलम शेख ने सीएम उद्धव ठाकरे की अध्यक्षता में हुई मीटिंग के बाद कहा कि सभी लोग लॉकडाउन लगाने के पक्ष में थे। असलम शेख ने कहा कि मीटिंग में हर किसी की राय थी कि लॉकडाउन लगाया जाना चाहिए। इस दौरान कोरोना प्रोटोकॉल और नियमों को लेकर बातचीत नहीं हो पाई है। अब एक बार फिर से कल मीटिंग होगी, जिसमें फैसला लिया जाएगा। असलम शेख ने कहा कि मीटिंग में कुछ लोगों की राय थी कि 2 सप्ताह का लॉकडाउन राज्य में लगाया जाना चाहिए। वहीं कुछ लोगों की राय थी कि सूबे में 3 सप्ताह तक का लॉकडाउन होना चाहिए।
इस बीच रविवार को राज्य में कोरोना संक्रमण के 63,294 नए केस सामने आए, जबकि 349 लोगों की मौत हुई। राज्य में फिलहाल कोरोना के 5,65,587 एक्टिव केस हैं। अब तक प्रदेश में कोरोना से 57,987 लोगों की मौत हो चुकी है। यदि शहरों के अनुसार बात करें तो फिलहाल मुंबई में 91,100 एक्टिव केस हैं। इसके अलावा पुणे में 1,09,590 एक्टिव केस हैं। यह आंकड़ा देश के किसी भी शहर के मुकाबले अधिक है। पुणे संभवत: देश का पहला ऐसा शहर बन गया है, जहां कोरोना संक्रमण के 1 लाख से ज्यादा एक्टिव केस एक वक्त में मौजूद हैं।