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अरुणाचल प्रदेश के दो युवक दो महीने से लापता(missing )

ईटानगर: अरुणाचल प्रदेश के दो युवक बेटिलम टिकरो और बेइंग्सो मन्यु चीन की सीमा के पास से लापता (missing ) हो गए हैं. अंजॉ जिले के पुलिस अधीक्षक राईक कामसी ने इस बारे में जानकारी देते हुए कहा कि औषधीय पौधों की तलाश में भारत-चीन सीमावर्ती इलाकों में जाते समय 2 युवक लापता हो गए. उनके परिवार के सदस्यों ने 9 अक्टूबर को पुलिस के समक्ष गुमशुदगी की शिकायत दर्ज कराई थी. हमने सेना से संपर्क किया है और हमारा खोज और बचाव अभियान भी जारी है. बेटिलम टिकरो और बेइंग्सो मन्यु के परिवारों को शक है कि अरुणाचल-चीन बॉर्डर पर चीनी सैनिकों ने उन्हें बंधक बना लिया है.

दोनों युवक अंजॉ के गोइलियांग कस्बे के रहने वाले हैं. ये मेडिसनल प्लांट्स की तलाश में 19 अगस्त को घर से अंजॉ के चगलगाम के लिए निकले थे, लेकिन वहां पहुंचे नहीं. इन्हें आखिरी बार 24 अगस्त को देखा गया था. उसके बाद से इनकी कोई खबर नहीं मिली है. लापता युवकों परिजन का कहना है कि उन्होंने अपने स्तर पर दोनों की तलाश की. जब उन्हें कोई सफलता नहीं मिली तो उन्होंने 9 अक्टूबर को स्थानीय पुलिस स्टेशन खुपा में गुमशुदगी की शिकायत दर्ज कराई. परिवारों ने केंद्र, राज्य सरकार और सेना से मदद करने की गुहार लगाई है. टिकरो के परिवार के एक सदस्य ने कहा, ‘हमने सेना से मदद मांगी है क्योंकि हमें संदेह है कि वे अनजाने में चीन चले गए होंगे.’

पुलिस का कहना है कि दोनों की तलाश के लिए सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया गया है. अंजॉ के SP राईके कामसी ने कहा कि जड़ी-बूटियों की तलाश में जंगलों में जाना आम बात है, हो सकता है लड़कों ने बॉर्डर के पास ही किसी घर में शरण ली हो. क्योंकि गोइलियांग से पैदल साइट तक पहुंचने में 12 दिन तक का समय लगता है. जनवरी 2022 में भी अरुणाचल प्रदेश का रहने वाला मिराम टारोन लाइन ऑफ एक्चुअल कंट्रोल के पास के जंगल में औषधीय पौधों की तलाश में भटक गया था और अनजाने में चीन चला गया था. चीनी सैनिकों ने उसे पकड़ लिया था. हालांकि, भारतीय सैन्य अधिकारियों के हस्तक्षेप के कुछ दिनों बाद उसे छोड़ दिया गया था.

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