पंजाब में 10 महीने में दूसरे मंत्री का इस्तीफाResignation)

चंडीगढ़: पंजाब की भगवंत मान सरकार के कैबिनेट मंत्री फौजा सिंह सरारी ने इस्तीफा (Resignation) दे दिया है. उन्होंने अपने इस फैसले के पीछे निजी कारणों का हवाला देते हुए कहा कि मैं आम आदमी पार्टी का वफादार सिपाही हूं और आगे भी रहूंगा. आपको बता दें कि कैबिनेट मंत्री फौजा सिंह सरारी पर भ्रष्टाचार के आरोप लगे थे जिसके चलते उन्हें कैबिनेट मंत्री का पद छोड़ना पड़ा है. सूत्रों की मानें तो पंजाब सरकार की कैबिनेट में बड़े फेरबदल की संभावना है. कई मंत्रियों के विभाग बदले जा सकते हैं और कुछ मंत्रियों की छुट्टी भी हो सकती है, फौजा सिंह के इस्तीफे को भी इसी से जोड़कर देखा जा रहा है. आम आदमी पार्टी पंजाब सरकार में नए चेहरों को मंत्री बनने का मौका दे सकती है.
\सूत्रों की मानें तो आज शाम 5 बजे तक मुख्यमंत्री भगवंत मान अपनी कैबिनेट का विस्तार कर सकते हैं और राजभवन में एक सादे समारोह में नई मंत्रियों को शपथ दिलाई जा सकती है. सरारी की जगह विधायक डॉ. बलबीर सिंह को मंत्रिमंडल में शामिल किए जाने की चर्चा है. भगवंत मान कैबिनेट में अब कुल 4 पद रक्ति हैं. सूत्रों की मानें तो बलबीर सिंह ने मुख्यमंत्री मान से मुलाकात कर खुद को कैबिनेट में मौका देने के लिए उनका धन्यवाद किया है. पिछले साल 11 सितंबर को फौजा सिंह सरारी के कथित भ्रष्टाचार का एक ऑडियो वायरल हुआ था. इस ऑडियो को खुद उनके ओएसडी तरसेम कपूर ने लीक किया था. इसके बाद से ही सरारी को लेकर आम आदमी पार्टी सवालों के कठघरे में थी. विपक्ष लगातार मुख्यमंत्री भगवंत मान और आम आदमी पार्टी के केंद्रीय नेतृत्व पर फौजा सिंह सरारी का बचाने का आरोप लगा रहा था.
हमारे पास 2 और मंत्रियों के भ्रष्टाचार के सबूत, जल्द करेंगे खुलासा: बाजवा
फौजा सिंह सरारी के इस्तीफे पर प्रतिक्रिया देते हुए पंजाब कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और विधानसभा में एलओपी प्रताप सिंह बाजवा ने कहा कि मुख्यमंत्री भगवंत मान जिस तरह से विपक्षी दलों के नेताओं के खिलाफ लगातार कार्रवाई करने में लगे हैं, अब अपने मंत्री के मामले की भी निष्पक्ष जांच करवाएं और कार्रवाई करें. हमारे पास इनके दो और मंत्रियों के भ्रष्टाचार से जुड़े सबूत मौजूद हैं, जल्द इसका खुलासा करेंगे. हो सकता है उनमें से किसी को आज ही सरकार बचाने के लिए हटा भी दें. पंजाब में आम आदमी पार्टी की सरकार बनने के बाद हुए पहले कैबिनेट विस्तार में फौजा सिंह को मंत्री बनाया गया था. उनके पास खाद्य और बागवानी मंत्रालय था.
पिछले साल सितंबर महीने में जब सरारी का ऑडियो क्लिप वायरल हुआ था, उस वक्त सीएम भगवंत मान जर्मनी दौरे पर थे. उनके जर्मनी से वापस आने के बाद फौजा सिंह को नोटिस भेजकर जवाब तलब किया गया था. 1 मिनट 35 सेकेंड के ऑडियो क्लिप में पैसे कैसे लेने हैं, इस संबंध में 2 व्यक्तियों के बीच बातें हो रही थीं. विपक्ष ने आरोप लगाया था कि यह ऑडियो क्लिप कैबिनेट मंत्री फौजा सिंह सरारी और उनके ओएसडी तरसेम कपूर के बीच बातचीत का है. लेकिन मंत्री सरारी ने इन आरोपों को सिरे से नकार दिया था. मंत्री ने कहा था कि विरोधियों ने उन्हें बदनाम करने के लिए एक षड्यंत्र के तहत फर्जी ऑडियो क्लिप तैयार करके सोशल मीडिया पर डाला है, जिसमें कोई सच्चाई नहीं. लेकिन विपक्ष लगातार उनके इस्तीफे की मांग कर रहा था.
इससे पहले पंजाब के स्वास्थ्य मंत्री डॉ. विजय सिंगला को भगवंत मान कैबिनेट से बर्खास्त किया गया था. उन पर विभाग के टेंडर में कमीशन लेने के आरोप लगे थे. सिंगला को जेल में भी रहना पड़ा, हालांकि आम आदमी पार्टी से वह बर्खास्त नहीं हुए. फौजा सिंह सरारी राजनीति में आने से पहले पंजाब पुलिस में थे. वह इंस्पेक्टर पद से सेवानिवृत्त हुए हैं. उन्होंने 2022 के पंजाब विधानसभा चुनाव में आम आदमी पार्टी के टिकट पर पहली बार चुनाव लड़ा और बॉर्डर के जिले फिरोजपुर के गुरुहरसहाय से विधायक चुने गए. सरारी राय सिख बिरादरी से आते हैं, इसी वजह से उन्हें मंत्रिमंडल में शामिल किया गया था. सूत्रों के हवाले से आज शाम होने वाले कैबिनेट फेरबदल में माइनिंग और जेल विभाग मीत हेयर को दिया जा सकता है. हरजोत बैंस का विभाग बदला जा सकता है. अनमोल गगन मान का विभाग बदलने की भी चर्चा है.