इस बार आप महाराष्ट्र का रतनगढ़ किला घूम सकते हैं. यह किला 400 साल पुराना है. ट्रैकिंग के लिए यह जगह एकदम बेस्ट है. यहां दूर-दूर तक फैले पहाड़ और घास के मैदानों के बीच से गुजरते हुए सैलानियों का दिल खुश हो उठता है इस बार आप महाराष्ट्र का रतनगढ़ किला घूम सकते हैं. यह किला 400 साल पुराना है. ट्रैकिंग के लिए यह जगह एकदम बेस्ट है. यहां दूर-दूर तक फैले पहाड़ और घास के मैदानों के बीच से गुजरते हुए सैलानियों का दिल खुश हो उठता है. आप यहां लंबा ट्रैक कर सकते हैं और इस किले के आसपास की प्राकृतिक खूबसूरती से रूबरू हो सकते हैं.
छत्रपत्रि शिवाजी राजे भोंसले ने इस किले को युद्ध में जीता था
महाराष्ट्र के अहमदनगर जिले में स्थित यह किला जंगलों के बीच पहाड़ियों पर बसा है. रतनगढ़ किला पर्यटकों के बीच खासा आकर्षण का केंद्र रहता है. मानसून के मौसम में यहां सैलानियों की भीड़ जुटती है और यह किला ट्रैकिंग के लिए बेस्ट है. करीब 400 साल पहले छत्रपत्रि शिवाजी राजे भोंसले ने इस किले को युद्ध में जीता था. इस किले में गणेश, हनुमान, कोंकण और त्र्यंबक के चार द्वार हैं. मुख्य द्वार पर भगवान गणेश और हनुमान की मूर्तियां हैं. इसके शीर्ष पर कई कुएं भी हैं. रतनवाड़ी में मुख्य आकर्षण अमृतेश्वर मंदिर है , जो अपनी नक्काशी के लिए प्रसिद्ध है. इस किले के शीर्ष से पड़ोसी किले जैसे अलंग, कुलंग, मदन गढ़, हरिश्चंद्रगढ़, पट्टा आसानी से देखे जा सकते हैं. किले पर कई रॉक कट वाटर कुंड हैं. सैलानी सालभर इस किले की सैर कर सकते हैं. इस किले का नाम रत्नाबाई टंडल के नाम पर रखा गया है, जिनका किले की गुफा के अंदर एक छोटा सा मंदिर है.
कैसे पहुंचें?
इस किले तक पहुंचने के लिए दो मुख्य मार्ग हैं. एक रास्ता समराड गावं और दूसरा गांव रतनवाड़ी से शुरू होता है. यहां प्रवर नदी के उत्तरी तट के साथ घने जंगल से होकर गुजरना पड़ता है. ट्रैकिंग करते वक्त आपको यहां रास्ते में नाश्ता और चाय मिल जाएगी. यह किला रतनवाड़ी से 6 किमी की दूरी, भंडारदरा से 23 किमी, पुणे से 183 किमी और मुंबई से 197 किमी की दूरी पर स्थित है. यह प्रसिद्ध किला 4250 फीट की ऊंचाई पर स्थित है। रतनगढ़ घूमने का सबसे अच्छा समय अक्टूबर से दिसंबर तक है.