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पावन धाम मां शेरावाली मंदिर पर कथा से पूर्व निकाली कलश यात्रा। भवसागर से पार लगाती है भागवत- आचार्य अजय देव वृंदावन

बिछवा- पावन धाम मां शेरावाली मंदिर जगतपुर के प्रांगण में भागवत कथा से पूर्व वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ विधि विधान से 151 कलशो की यात्रा बैंड बाजे व डीजे के साथ निकाली गई। यात्रा कथा पंडाल से प्रारंभ होकर गांव के विभिन्न मंदिरों गलियों से से घूमती हुई बाद में वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ विधि-विधान से कलशो की स्थापना कराई गई। कथा के पहले दिन प्रवचन देते हुए कथा वाचिक आचार्य अजय देव वृंदावन ने कहा कि बड़े सौभाग्य से और काफी पुण्य कर्मों से हमें भागवत कथा सुनने व कराने का अवसर प्राप्त होता है। जिस धरा पर जिस क्षण में भागवत कथा प्रारंभ होती है उस गांव के लिए उस नगर के लिए वह समय प्रभु की कृपा से ही प्राप्त होता है।

151 कन्याओं ने सिर पर कलश रखकर निकाली यात्रा

बैंड बाजों के साथ निकाली गई 151 कलशो की यात्रा

भागवत कथा हमें भवसागर से पार लगाती है। भागवत कथा सुनने का अवसर भी प्रभु की असीम कृपा से ही प्राप्त होता है। संसार में सत्कर्म और सेवा भाव ही हमारे जीवन का उद्देश्य होना चाहिए। जब जहां जितनी देर जिस समय प्रभु की भक्ति करने का अवसर मिले तो मनुष्य को इस माया रुपी दुनिया से अलग होकर प्रभु की शरण में जाना चाहिए। कथा में प्रभात कुशवाहा ममता कुशवाहा कौशलेंद्र सिंह विजय विक्रम सिंह शिववीर सिंह राजवीर सिंह पारस मोनू अजीत आशु अरविंद्र उमेंद्र सुधीर संदीप टिंकू सुरेश लाला के अलावा आदि गांव के लोग मौजूद रहे।

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