वाराणसी (Varanasi)में कहां से कहां तक चलेगी वॉटर टैक्सी
नई दिल्ली. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी को आज यानी गुरुवार से एक और तोहफा मिलने जा रहा है. बनारस (Varanasi) के घाटों पर अब हाइड्रोजन फ्यूल वाली देश की पहली वॉटर टैक्सी चलाई जाएंगी. इसकी सभी तैयारियां पूरी हो चुकी हैं और 15 जून से वॉटर को टैक्सी का संचालन शुरू हो जाएगा.
इससे पहले बनारस से देश का पहली नदी क्रूज भी रवाना किया गया था. क्रूज को जहां 50 दिन के भीतर बांग्लादेश के रास्ते असम के डिब्रूगढ़ तक का सफर करना है, वहीं वॉटर टैक्सी को बनारस के प्रमुख घाटों के बीच चलाया जा रहा है. गंगा नदी पर चलाई जाने वाली यह वॉटर टैक्सी पायलट प्रोजेक्ट के तहत शुरू की जा रही है. जल्द ही इस तरह की और वॉटर टैक्सियों का संचालन किया जाएगा. योजना है कि बनारस के बाद आगरा व मथुरा की यमुना नदी पर भी इसी तरह की वॉटर टैक्सियों का संचालन शुरू किया जाएगा.
क्या होगा वॉटर टैक्सी का रूट
एडिशनल म्यूनिसिपल कमिश्नर सुमित कुमार का कहना है कि यह वॉटर टैक्सी रामनगर फोर्ट से नमो घाट के बीच चलाई जाएगी. दोनों के बीच की दूरी करीब 11 किलोमीटर की होती है. बीच में इसके कई स्टॉपेज भी बनाए गए हैं. इस रास्ते के बीच में कुल 3 स्टॉपेज होंगे. असी घाट, दशाश्वमेध घाट और राजघाट पर भी इस वॉटर टैक्सी को रोका जाएगा. अधिकारी का कहना है कि अभी गंगा पर 2 वॉटर टैक्सियां चलाई जा रही हैं, लेकिन बाढ़ का सीजन बीतने के बाद 4 और वॉटर टैक्सी चलाने की योजना
क्या होगा किराया
वाराणसी म्यूनिसपल कॉरपोरेशन ने सड़कों पर ट्रैफिक का दबाव कम करने के लिए इस वॉटर टैक्सी का संचालन शुरू किया है. रूट निर्धारित होने के साथ इसका किराया भी निर्धारित कर लिया गया है. रामनगर से नमो घाट के बीच इस तेज रफ्तार टैक्सी के लिए यात्रियों से प्रति किलोमीटर 15 रुपये किराया वसूला जाएगा. लिहाजा 11 किलोमीटर के इस सफर के लिए यात्रियों को 165 रुपये चुकाने पड़ेंगे.
जल्द काशी विश्वनाथ तक जाएगी टैक्सी
एक वॉटर टैक्सी में एक बार में 80 यात्रियों के बैठने की क्षमता रहेगी. इसके संचालन का जिम्मा रोडवेज प्रबंधन को सौंपा गया है. वॉटर टैक्सी को अभी तो रामनगर फोर्ट से नमो घाट तक चलाया जा रहा है, लेकिन जल्द ही इसे काशी विश्वनाथ धाम के एंट्री गेट तक बढ़ाया जाएगा. इसका सारा काम लगभग पूरा हो चुका है. आने वाले दिनों में श्रद्धालु इस वॉटर टैक्सी के जरिये सीधे काशी विश्वनाथ धाम तक पहुंच सकेंगे.