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पारिवारिक रंग हो रहे बेरंग, कारण जुआ का खेल !

दिल्ली: –  देश दुनिया में अपनी अलग पहचान रखने वाला वाराणसी शहर खुद में जिंदा शहर बनारस जिसकी मिसाल दुनिया के कोने-कोने तक दी जाती है जहां ज्ञान विज्ञान आध्यात्म के लिए लोग अपनी जीवन यात्रा के साथ रमणीक बनाते हैं वही मोक्ष प्राप्ति के लिए भी विश्व के कोने-कोने से लोग काशी में अपने आगमन को शुभ मानते हैं !जहां देश के प्रधानमंत्री वाराणसी का संसद के रूप में शोभा बढ़ा रहे हैं वही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की कार्यशैली और जनता के प्रति खुद को पूर्ण समर्पण के साथ अपने किए वादे को निभाने की कवायत जारी है !

सामाजिक पतन में सबसे बड़ा हाथ समाज के उस वर्ग का होता है जो हुक्मरान और जिम्मेदार के रूप में जाने जाते हैं जिन्होंने समाज की सुरक्षा की जिम्मेदारी अपने कंधों पर ली है लेकिन कहीं ना कहीं वह आंख मिचौली कर समाज में कुरीतियों को जगह दे रहे हैं और दुश्वारियां, अनैतिक धंधों को विकसित करने में सहायक के रूप में कार्य कर रहे हैं ! चाहे आबकारी विभाग हो या पुलिस विभाग इनके द्वारा किए जा रहे कार्य आज लोगों के लिए उनके परिवार टूटने का सबसे बड़ा कारण साबित हो रहा है !वाराणसी के गली-गली मोहल्ले में भाग्यश्री के रूप में भाग्य बदलने के नाम पर जुआ का चलन लोगों की घरों में ठक ठक की ताना-बाना के साथ उनके परिवार की आर्थिक तंगी को बढ़ाते हुए लाचारी ,बेबसी की नई तस्वीर लिख रहा है !

जबकि जिम्मेदार साहब सिर्फ मात्र अपनी मंशा उनके सहयोगी के रूप में स्थापित कर लाखों रुपए वसूली और ईमानदार सहयोगी का कार्य कर रहे हैं !

अंजान बन वसूली में जुटे वर्दीधारी चाहे हो क्राइम ब्रांच या स्थानीय पुलिस

आपको सुनकर आश्चर्य होगा कि वाराणसी के देसी दारू के टेक पर जुआ का संचालन तीव्र गति से हो रहा है जिसका सोशल मीडिया पर वीडियो भी वायरल हो चुका है लेकिन जिला प्रशासन की निरंकुशता को देखते हुए यह लगता है कि इन्होंने स्वयं इस कार्य के लिए ठेका दे रखा हो !

आपको हैरानी होगी की जुआ का संचालन करने वाले का मन इस कदर बढ़ा हुआ है कि वह स्वयं जिले की कई थानेदारों के साथ बैठकर वसूली के लिए पैमाना तय करते हैं और अपनी भागीदारी का हिस्सा अपने कार्यों में तैनाती सिपाहियों से वसूली कराते हैं ! फैंटम दस्ते की बहुत बड़ी भूमिका होती है बिचौलिए के रूप में और तो और पहले भी जुआ का खेल होता रहा है लेकिन सूत्रों के मुताबिक सिर्फ क्राइम ब्रांच ही अपनी हिस्सा के लिए भागीदारी रौब के साथ जामाता था !जबकि आज क्राइम ब्रांच का सहयोगी स्थानीय थाना, संरक्षक मंडल और आबकारी विभाग भी अपनी तैनाती किए हुए हैं और तो और कई नेता पत्रकार भी शामिल होकर खुद को इनके साथ गोता लगाते हुए मालदार होने का ख्वाब संजोए सामाजिक दुष्प्रभाव, जुआ रूपी महामारी को घर-घर फैलाने में अपनी आम भूमिका निभा रहे हैं !

जहां सूबे के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ लगातार दौरे पर होते हैं और चिन्हित अधिकारियों को पोस्टिंग दी जाती है वही अधिकारी आज उनके लिए वसूली का सामान बटोर कर आम जनता के साथ खेल रहे हैं ! वाराणसी में कई नेता और साहसिक समाजिक कार्यकर्ता के साथ-साथ संगठन भी सुचारू रूप से संचालित हो रहे हैं लेकिन सबकी पैनी नजर फिर आखिर चुप्पी क्यों ..??

जनजन में एक यह भी बड़ा सवाल है जबकि उनके आसपास अलग-अलग थाना क्षेत्र जैसे सिगरा, कैंट ,चेतगंज, आदमपुर ,रामनगर ,रोहनिया, लंका जहां बड़े पैमाने पर जुआ का खेल संचालित हो रहा है यही नहीं मडूवाड़ीह भी पीछे नहीं है ! जहां सूर्य की पहली किरण मां गंगा की गोद से होते हुए काशी वासियों को अपना ऊर्जावान आवरण देते हुए नित्य कर्म को आदेश से सृजन करती हैं वहीं घाटों की आरती रात्रि विश्राम के लिए अपनी विशेष छटा के साथ लोगों का ध्यान आकर्षित कर काशी की गरिमा को गौरवान्वित करती हैं !