चक्रवाती तूफान ‘मैंडूस’ हवा की रफ्तार 90 किमी प्रति घंटे ( 90 kmph)तक पहुंचने की आशंका
नई दिल्ली. ‘मैंडूस’ नाम ने भारत के कुछ हिस्सों के लिए चिंता बढ़ा दी है. इस सप्ताह एक चक्रवात के बंगाल की खाड़ी के ऊपर बनने और तमिलनाडु, पुडुचेरी और आंध्र प्रदेश के आस-पास के तटों तक पहुंचने की संभावना है. यह मानसून के बाद का दूसरा चक्रवात होगा और एक बार बन जाने के बाद इसे ‘मैंडूस’ के नाम से जाना जाएगा. भारत मौसम विज्ञान विभाग ने सोमवार को कहा कि दक्षिण अंडमान सागर और पड़ोस में कम दबाव का क्षेत्र पश्चिम-उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ने की संभावना है और 6 दिसंबर की शाम तक दक्षिणपूर्व बंगाल की खाड़ी पर एक दवाब बन सकता है.
HT के अनुसार कम दबाव का क्षेत्र चक्रवाती तूफान में बदल सकता है और 8 दिसंबर की सुबह तक उत्तरी तमिलनाडु, पुडुचेरी और इससे सटे दक्षिण आंध्र प्रदेश तट के पास बंगाल की दक्षिण-पश्चिम खाड़ी तक पहुंच सकता है. IMD ने कहा कि इस कारण अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में मंगलवार को हल्की या मध्यम बारिश होने की संभावना है. IMD ने यह भी कहा कि 7 दिसंबर की मध्यरात्रि से उत्तरी तटीय तमिलनाडु, पुडुचेरी और कराईकल में कुछ स्थानों पर भारी बारिश की भी संभावना है.
वहीं 8 दिसंबर को उत्तरी तमिलनाडु और पुडुचेरी में अलग-अलग स्थानों पर भारी से बहुत भारी और अलग-अलग स्थानों पर भारी से बहुत भारी वर्षा और 9 दिसंबर को तमिलनाडु में भारी से बहुत भारी वर्षा होने की संभावना है. मौसम विभाग ने अनुमान लगाया है कि हवा की गति धीरे-धीरे बढ़कर 55-65 किमी प्रति घंटे हो जाएगी, जो 7 दिसंबर को 75 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलेगी. वहीं 8 दिसंबर को इसी क्षेत्र में 70-80 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलेगी, हवा की रफ्तार यहां 8 दिसंबर को 90 किमी प्रति घंटे ( 90 kmph) तक पहुंचने की संभावना है.
मौसम पूर्वानुमान में कहा गया है कि 6 दिसंबर से 8 दिसंबर तक बंगाल की खाड़ी के पश्चिम मध्य के दक्षिण-पश्चिम और आस-पास के क्षेत्रों में समुद्र की स्थिति बहुत खराब रहने की संभावना है. 7 और 9 दिसंबर को दक्षिण आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, पुडुचेरी और श्रीलंका के तटों पर समुद्र की स्थिति खराब रहने वाली है. वहीं 8 दिसंबर को इन तटों पर समुद्र की स्थिति बहुत खराब रहने की संभावना है.