ज्ञानवापी (Gyanvapi)परिसर का एएसआई शुरू करेगी सर्वे

वाराणसी. भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षणकी टीम रविवार देर शाम वाराणसी पहुंच गई है. प्राप्त जानकारी के मुताबिक, यह टीम सोमवार सुबह 7 बजे से ज्ञानवापी (Gyanvapi) मस्जिद परिसर का सर्वे शुरू करेगी. इसमें मस्जिद के वजूखाने को छोड़कर परिसर के बाकी हिस्सों का वैज्ञानिक सर्वेक्षण किया जाएगा.
उत्तर प्रदेश में वाराणसी की एक अदालत ने दो दिन पहले शुक्रवार को ही काशी विश्वनाथ मंदिर के निकट स्थित मां श्रृंगार गौरी-ज्ञानवापी मस्जिद मामले में हिंदू पक्ष की मांग को स्वीकार करते हुए वजूखाने को छोड़कर पूरे ज्ञानवापी परिसर का पुरातात्विक एवं वैज्ञानिक सर्वेक्षण कराने की अनुमति दी थी.
इसके लिए एएसआई की टीम रविवार को उत्तर प्रदेश के लखनऊ पहुंची और वाराणसी कमिश्नर से भी मुलाकात की. हिंदू पक्ष के सभी अधिवक्ता भी पुलिस कमिश्नर के आवास पर पहुंचे हैं, जहां देर रात तक उनकी मीटिंग चली. हिन्दू पक्ष के वकील सुभाष नंदन ने बताया कि सावन के तीसरे सोमवार को ज्ञानवापी मस्जिद के वैज्ञानिक सर्वे का काम शुरू हो सकता है.
वाराणसी के डीएम बोले- कर रहे हैं जरूरी तैयारी
इस संबंध में वाराणसी के डीएम एस राजलिंगम ने कहा, ‘हमें एएसआई से जानकारी मिली है कि सर्वेक्षण कल से शुरू होगा…हमें अभी समय के बारे में नहीं बताया गया है…हम सुरक्षा के लिहाज से सभी जरूरी तैयारियां कर रहे हैं.’
एएसआई को अपना सर्वेक्षण करने के बाद 4 अगस्त, 2023 को वाराणसी अदालत में एक रिपोर्ट दाखिल करने के लिए कहा गया है. कोर्ट में मामले की अगली सुनवाई भी उसी तारीख को होनी है. अदालत ने उस याचिका पर अपना फैसला सुनाया था, जिसमें ज्ञानवापी मस्जिद में कथित तौर पर मिले ‘शिवलिंग’ की उम्र निर्धारित करने के लिए कार्बन डेटिंग सहित वैज्ञानिक सर्वेक्षण की मांग की गई थी.
एके विश्वेश की अदालत ने बीते 21 जून को हिंदू पक्ष के एक समूह की उस याचिका को बरकरार रखा, जिसमें यह पता लगाने के लिए वैज्ञानिक सर्वेक्षण की मांग की गई थी कि क्या मस्जिद का निर्माण हिंदू मंदिर की जगह पर किया गया है. हालांकि, बैरिकेडेड ‘वज़ुखाना’ को इस सर्वेक्षण में शामिल नहीं किया जाएगा, जहां हिंदू पक्षों की तरफ से ‘शिवलिंग’ होने का दावा किया गया था.
गौरतलब है कि अगस्त 2021 में पांच महिलाओं ने स्थानीय अदालत में एक याचिका दायर की थी जिसमें मस्जिद परिसर के अंदर स्थित मां श्रृंगार गौरी स्थल पर नियमित पूजा के अधिकार की मांग की गई थी. अप्रैल 2022 में दिवानी न्यायाधीश (सीनियर डिवीजन) की अदालत ने ज्ञानवापी मस्जिद परिसर के सर्वेक्षण का आदेश दिया था. मुस्लिम पक्ष के विरोध के बीच सर्वेक्षण अंततः मई 2022 में पूरा हुआ था. इसी दौरान हिंदू पक्ष ने मस्जिद परिसर के अंदर वजू के लिए बने तालाब में ‘शिवलिंग’ मिलने का दावा किया था, वहीं मुस्लिम पक्ष ने इसे फव्वारा बताया था.