Pragati Maidan : 2030 तक भारत बनेगा ‘ड्रोन हब’, बोले मोदी….
नई दिल्ली। Pragati Maidan : 2030 तक भारत बनेगा ‘ड्रोन हब’, बोले मोदी….दिल्ली के प्रगति मैदान में दो दिवसीय ड्रोन महोत्सव 2022 का प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को उद्घाटन किया। इस दौरान उन्होंने प्रदर्शनी का भी निरीक्षण किया। प्रधानमंत्री ने कहा कि मैं ड्रोन प्रदर्शनी से प्रभावित हूं। 2030 तक भारत ड्रोन हब बनेगा। उन्होंने कहा, जिन-जिन स्टाल में मैं आज गया, वहां सभी लोग बहुत गर्व से कहते थे कि ये मेक इन इंडिया हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि यह उत्सव सिर्फ ड्रोन का नहीं, यह नए भारत-नई गवर्नेंस का उत्सव है। ड्रोन टेक्नोलाजी को लेकर भारत में जो उत्साह देखने को मिल रहा है, वो अद्भुत है।
Pragati Maidan : पीएम मोदी ने कहा: ड्रोन तकनीक रोजगार देने वाली है, 2030 तक भारत बनेगा ‘ड्रोन हब’
ये जो ऊर्जा नजर आ रही है, वो भारत में ड्रोन सर्विस और ड्रोन आधारित इंडस्ट्री की लंबी छलांग का प्रतिबिंब है। पीएम ने कहा, यह ऊर्जा भारत में रोजगार सृजन के एक उभरते हुए बड़े सेक्टर की संभावनाएं दिखाती है। उन्होंने कहा, आठ वर्ष पहले यही वो समय था, जब भारत में हमने सुशासन के नए मंत्रों को लागू करने की शुरुआत की थी। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि पहले की सरकारों ने टेक्नोलाजी को समस्या का हिस्सा समझा। उसे गरीब विरोधी साबित करने की कोशिश की गई। इस कारण 2014 से पहले गवर्नेंस में टेक्नालाजी के उपयोग को लेकर उदासीनता का वातावरण रहा।
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इसका सबसे अधिक नुकसान गरीब को हुआ, वंचित को हुआ और मिडिल क्लास को हुआ। उन्होंने कहा, तकनीकी के माध्यम से हम आगे बढ़कर अंत्योदय के लक्ष्य को प्राप्त कर सकते हैं। पीएम मोदी ने आगे कहा कि जब केदारनाथ के पुनिर्माण का काम शुरू हुआ था, तो हर बार मेरे लिए वहां जाना संभव नहीं था। तो मैं ड्रोन के जरिए केदारनाथ के काम का निरीक्षण करता था। आज सरकारी कामों की गुणवत्ता को देखना है तो यह जरूरी नहीं है कि मैं बता दूं कि मुझे वहां निरीक्षण करने के लिए जाना है। मैं ड्रोन भेज दूं तो जानकारी वे लेकर आ जाता है और उन्हें पता भी नहीं चल पाता है कि मैंने जानकारी ले ली है।
Pragati Maidan : मैं ड्रोन भेज दूं तो जानकारी वे लेकर आ जाता है
कुछ समय पहले तक ड्रोन के लिए पूरी तरह के आयात पर निर्भर भारत तेजी से इस मामले में आत्मनिर्भरता की तरफ कदम बढ़ा रहा है। घरेलू उद्योग को बढ़ावा देने के उद्देश्य से ही फरवरी में ड्रोन के आयात पर प्रतिबंध का भी एलान कर दिया गया। अब केवल आरएंडडी, डिफेंस और सिक्योरिटी के लिए ही ड्रोन आयात की अनुमति है। इनके लिए भी क्लियरेंस जरूरी होगा। आयात पर प्रतिबंध के कदम से घरेलू ड्रोन निर्माताओं को लाभ होगा। ड्रोन के पुर्जो के आयात पर प्रतिबंध नहीं लगाया गया है। सरकार ने ड्रोन उद्योग के लिए परचेज लिंक्ड इंसेंटिव (पीएलआइ) योजना भी शुरू की है, जिसे जबर्दस्त प्रतिक्रिया मिली है।