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ब्रिटेन / सिख सांसद तनमनजीत ने प्रधानमंत्री से पूछा- मुस्लिम महिलाओं पर टिप्पणियों के लिए माफी कब मांगेंगे

  • ब्रिटेन के हाउस ऑफ कॉमंस में तनमनजीत सिंह धेसी ने डेढ़ मिनट की स्पीच में प्रधानमंत्री बॉरिस जॉनसन से तीखे सवाल किए
  • बॉरिस ने 2018 में एक लेख में हिजाब पहनने वाली मुस्लिम महिलाओं की तुलना बैंक डकैतों और लेटर बॉक्स से की थी
  • तनमनजीत सिंह ने जॉनसन से कहा- आपकी टिप्पणियों की वजह से ब्रिटेन में नस्ल विरोधी हिंसा बढ़ी, शर्मिंदा होकर बचते रहने की बजाय माफी मांगें

लंदन. ब्रिटिश प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन बुधवार को संसद में सवाल-जवाब के अपने पहले सत्र में शामिल हुए। लेकिन, कंजर्वेटिव पार्टी के प्रधानमंत्री जॉनसन को लेबर पार्टी के सिख सांसद तनमनजीत सिंह धेसी के तीखे सवालों का सामना करना पड़ा। स्लो (बर्कशायर) से सांसद सिंह ने जॉनसन के 2018 में लिखे एक लेख पर माफी मांगने को कहा। इस लेख में जॉनसन ने हिजाब पहनने वाली मुस्लिम महिलाओं की तुलना बैंक डकैतों और लेटर बॉक्स से की थी। सिंह ने जॉनसन से पूछा कि प्रधानमंत्री अपने अपमानजनक और नस्लवादी बयान के लिए आखिरकार कब माफी मांगेंगे। सिंह के इस सवाल पर हाउस ऑफ कॉमन्स में तालियां बजीं।

जॉनसन ने अगस्त 2018 में द टेलीग्राफ में एक कॉलम में मुस्लिम महिलाओं के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी की थी। इसमें उन्होंने बुरका बैन का समर्थन किया था। ब्रिटेन में जॉनसन की इस टिप्पणी की व्यापक तौर पर निंदा की गई थी।

क्या बुरका पहनना टिप्पणी के लिए खुला मौका है- सिंह
सिंह ने अपने भाषण में कहा- अगर मैं पगड़ी पहनने का फैसला करता हूं और आप क्रॉस पहनने का फैसला करते हैं। अगर वह किपाह पहनने का फैसला करता है, या वह हिजाब या बुरका पहनने का फैसला करती है तो क्या यह इस सदन के माननीय सदस्यों के लिए खुला मौका है कि वह हमारी मौजूदगी को लेकर अपमानजनक और विभाजनकारी टिप्पणी करें। 

हम मुस्लिम महिलाओं की पीड़ा का अनुभव करते हैं- सिंह
सिंह ने कहा, “हम जैसे लोग जो अभी युवा हैं, उन्हें टॉवेल हेड, तालिबान, बोंगो-बोंगो लैंड वाला कहकर बुलाया जाता है। हमने इन चीजों का सामना किया और सहा है। हम उस पीड़ा और दुख का अहसास कर सकते हैं, जब किसी मुस्लिम महिला को बैंक लुटेरा या लेटर बॉक्स कहा जाता है।”

जॉनसन का जवाब- मेरी कैबिनेट देश के इतिहास में सबसे विविधतापूर्ण
बोरिस जॉनसन ने कहा- मेरा आर्टिकल उदारवादी विचार के समर्थन में था कि इस देश में हर एक को इस बात का अधिकार है कि वह क्या पहनना चाहता है। मुझे मुस्लिम और सिख पूर्वज होने पर गर्व है और इस बात पर गर्व है कि मेरी कैबिनेट इस देश की सबसे ज्यादा विविधताभरी कैबिनेट है। और, मुझे इनके व्यवहार में स्पष्ट झलक रहे यहूदी विरोधी व्यवहार के लिए क्षमा मांगने का कोई लक्षण दिखाई नहीं दे रहा है।

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