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उत्तर प्रदेश में बने बारिश के आसार, खत्म हुआ मानसून का इंतजार

 

– समय से मानसून का पहले आना दे रहा है अच्छा संकेत

लखनऊ। इस बार का मई माह मौसम की गतिविधियों से उतार व चढ़ाव भरा रहा। पहले पश्चिमी विक्षोभ के सक्रिय होने से लोगों को गर्मी से राहत मिली, फिर क्रमश: ताउते और यास चक्रवात सक्रिय हुआ और वातावरण में नमी बनी रही। इन सभी गतिविधियों से मई माह में अन्य वर्षों की अपेक्षा काफी हद तक मौसम सुहाना रहा। वहीं अब समय से पहले मानसून ने उत्तर प्रदेश में दस्तक दे दी है और बारिश के आसार बने हुए हैं, जिससे मानसून का इंतजार कर रहे लोगों को राहत मिल सकी।

चन्द्रशेखर आजाद कृषि प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय के मौसम वैज्ञानिक डा. एसएन सुनील पाण्डेय ने सोमवार को बताया कि दक्षिण-पश्चिम मानसून ने रविवार को उत्तर प्रदेश के कुछ जिलों में दस्तक दे दी। पूर्वी व पश्चिमी उत्तर प्रदेश के कई जिलों में बादल बरसे। विभाग के अनुसार सोमवार से लखनऊ व कानपुर समेत प्रदेश कई अन्य जिलों में मानसून सक्रिय हो जाएगा। मौसम विभाग के अनुसार मानसून ने इस साल एक सप्ताह पहले ही दस्तक दे दिया है। इसे अच्छा संकेत माना जा रहा है। भारतीय मौसम विभाग के अनुसार इस साल दक्षिण-पश्चिम मानसून के सामान्य रहने के आसार हैं। बताया कि देखा जाए तो मई में भी पश्चिमी विक्षोभ के लगातार आते रहने से मौसम सुहाना बना रहा। एक-दो दिन गर्म हवा के थपेड़े जरुर पड़े। लेकिन, पूरे माह मौसम अच्छा बना रहा। इसके बाद जून की शुरुआत गर्मी और उमस से जरुर हुई, लेकिन दूसरे सप्ताह से ही प्री मानसून गतिविधियां शुरु हो गईं और अब मानसून आ चुका है।

मौसम विभाग के मुताबिक बंगाल की खाड़ी में कम दबाव वाला क्षेत्र बन रहा है। साथ ही कम दबाव वाले क्षेत्र की वजह से दक्षिण पश्चिमी हवाओं का रुख पश्चिमी तटीय इलाकों से होते हुए बढ़ेगा। इस अनुकूल स्थिति की वजह से मानसून जल्दी दस्तक दे रहा है। मानसून के जल्दी आने के तीन प्रमुख कारण हैं। इसमें बड़े क्षेत्र में बारिश का होना, अधिक बारिश होना और हवाओं का जल्दी आना शामिल हैं।

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