प्रधान पुत्र ने अपने साथियों के साथ की थी प्रदीप की हत्या
अंकुल वर्मा
लखीमपुर खीरी। शहर से सटे गांव मीरपुर के प्रधान पुत्र ने अपने भाई और साथियों के साथ मिलकर प्रदीप की हत्या की थी। उसके शव को अपनी कार की डिक्की में रखकर गांव के बाहर फेंक दिया। पुलिस को गुमराह करने के लिए शव को नग्न कर दिया गया था। पुलिस ने प्रधान पुत्र समेत छह लोगों को गिरफ्तार किया है। उनके पास से आलाकत्ल डंडा और घटना में प्रयोग की गई कार बरामद हुई है। पुलिस ने सभी को जेल भेज दिया है।
एसपी विजय ढुल ने बताया कि सदर कोतवाली के गांव रसौरा निवासी प्रदीप कुमार 12 जनवरी की रात मीरपुर प्रधान पुत्र बलवीर के घर कच्ची शराब पीने गया था। यहां शराब पिलाने के बाद बलवीर के भाई सुनील ने प्रदीप से घर जाने को कहा तो उसने गाली दे दी। सुनील ने प्रदीप की पिटाई कर दी। लेकिन फिर भी प्रदीप ने गालियां देना बंद नहीं किया और उसे देख लेने की धमकी देने लगा। झल्लाए सुनील और उसके चचेरे भाई बाबूराम ने डंडे से प्रदीप को पीट दिया। इसमें उसकी मौत हो गई। तभी वहां बलवीर अपने साथी नीरज वर्मा, प्रहलाद वर्मा और उमेश वर्मा के साथ आ गया। सभी ने मिलकर प्रदीप के शव को बलवीर की टीयूवी कार की डिग्गी में रखा और गांव के उत्तर फेंक दिया। जांच में पुलिस का शक उनके ऊपर न आए, इससे लिए शव को नग्न कर दिया। 13 जनवरी को जब प्रदीप का शव बरामद हुआ तो पुलिस ने अज्ञात में मुकदमा दर्ज किया। पुलिस को भी लगा कि प्रदीप की हत्या अवैध संबंधों में हुई है। पुलिस ने सीओ सिटी अरविंद कुमार वर्मा की अगुवाई में जांच शुरू कर दी। पुलिस ने मीरपुर के 12-13 लोगों से पूछताछ की। सभी से हुई पूछताछ में निकल कर आया कि प्रदीप आखरी बार बलवीर के घर देखा गया है। वही वह शराब पी रहा था। इसी आधार पर पुलिस ने बलवीर को पूछताछ के लिए उठा लिया और उसके साथी व घरवालों से पूछताछ हुई। पूछताछ में सभी के बयान अलग पाया गए। तब पुलिस को यकीन हो गया कि बलवीर के परिवारवालों ने ही प्रदीप की हत्या की है। फिर पुलिस ने सभी से सख्ती से पूछताछ की। जिसमें सभी ने अपना जुर्म कबूल कर लिया।
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प्रधानी के लालच में पिलाई जाती थी फ्री में कच्ची शराब
::बलवीर की मां मीरपुर गांव की प्रधान थी। करीब छह महीना पहले बलवीर की मां की मौत हो गई। बाद में सदस्य विजय पटेल की पत्नी को प्रधान मनोनीति कर दिया गया। प्रधानी का चुनाव फिर से आने वाला है। बलवीर चुनाव लड़ना चाहता था। इसी वजह से वह गांव के लोगों को रोज अपने घर पर फ्री में कच्ची शराब पिलवाता था। रोज गांव के लोग बलवीर के घर शाम को शराब पीने जाते थे। प्रदीप भी बलवीर के घर शराब पीने जाया करता था।
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कई दिनों तक पुलिस होती रही गुमराह
::आरोपी बलवीर पुलिस को कई बार गुमराह करने में कामयाब भी हो गया था। पुलिस को जब पता चल गया कि प्रदीप की हत्या अवैध संबंधों में नहीं की गई है और जांच बलवीर के आसपास घूमने लगी तो उसके कुछ साथी हिरासत में ले लिए गए तो आरोपी बलवीर ने गांव के एक व्यक्ति को कालोनी देने का लालच दिया। जिससे वह पुलिस से झूठ बोल दे कि उसने प्रदीप को बलवीर के घर से जाते देखा था। लेकिन बाद में बलवीर की ये कहानी भी पुलिस के सामने ज्यादा देर तक नहीं टिकी और वह जेल चला गया।