राज्य
24 घंटे में 11 राज्यों में भारी बारिश के आसार, नासिक में बाढ़, 10 साल का रिकॉर्ड टूटा
नई दिल्ली/ मुंबई. एमपी के 23 जिलों में बाढ़ जैसे हालात के बाद मानसून अब पूरे महाराष्ट्र में मेहरबान है। रविवार को कोंकण के पुणे, सातारा, कोल्हापुर के अलावा उत्तर महाराष्ट्र में जमकर बारिश हुई। नासिक में शनिवार रात से अब तक 133 मिमी यानी 5.24 इंच बारिश होने के बाद बाढ़ आ गई है। गोदावरी नदी उफान पर है। 24 घंटे हुई लगातार बारिश ने यहां पिछले 10 सालों का रिकॉर्ड तोड़ दिया है। नासिक में 10 साल पहले 100 मिमी बारिश दर्ज की गई थी। वहीं, देश के 89% हिस्से में नॉर्मल या उससे ज्यादा बारिश हो चुकी है। 11 राज्यों में अगले 24 घंटे में भारी बारिश हो सकती है। सूखा झेल रहा मराठवाड़ा भी तरबतर…
– सूखे से जूझ रहे मराठवाड़ा के कुछ हिस्सों में दिनभर हल्की बारिश होती रही।
– विदर्भ के भामरागढ़ में 46 घंटे में 10 इंच बारिश दर्ज हुई है।
– दो दिन पहले सबसे सूखे विदर्भ के 26 गांवों में एक ही दिन में करीब 4 इंच बारिश दर्ज की गई थी।
अगले 24 घंटे में कहां हो सकती है भारी बारिश
– पूर्वी और पश्चिमी राजस्थान, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, गुजरात, हरियाणा, पश्चिमी उत्तर प्रदेश, मध्य महाराष्ट्र और कोंकण, गोवा, तटीय कर्नाटक, उत्तराखंड और ओडिशा में कुछ जगहों पर।
अगले 48 घंटे के आसार
– मौसम विभाग के मुताबिक अगले 48 घंटों के दौरान मानसून के कच्छ और पश्चिम राजस्थान के बाकी बचे हस्से में आगे बढ़ने के आसार हैं।
देश का हाल
– देश के करीब 89 फीसदी हिस्से में नॉर्मल या उससे ज्यादा बारिश हुई है।
– गुजरात के बड़े हिस्से में सामान्य की तुलना में 42% ही बारिश हुई है। देश में एक जून से 10 जुलाई के बीच 254 मिलीमीटर बारिश हुई है। यह सामान्य बारिश के आंकड़े 251.8 मिलीमीटर से करीब एक फीसदी ज्यादा है।
– विदर्भ में अब तक 43 फीसदी और मराठवाड़ा में 13 फीसदी ज्यादा बारिश हो चुकी है।
– पूर्वी और पश्चिमी मध्यप्रदेश में अब तक 78 और 66 फीसदी ज्यादा बारिश हुई है।
– वेदर डिपार्टमेंट के मुताबिक देश के 26 फीसदी हिस्से में ज्यादा और 63 फीसदी हिस्से में नॉर्मल बारिश हुई है।
– वहीं, सिर्फ 11 फीसदी हिस्सा ऐसा है जहां कम बारिश हुई है। हालांकि देश के पूर्वी और उत्तर-पूर्वी क्षेत्र में कम बारिश का यह आंकड़ा 21 फीसदी है।
– अभी तक चार सब-डिवीजन ऐसे हैं जहां कम बारिश हुई है। इनमें गुजरात अंचल और सौराष्ट्र कच्छ शामिल हैं। सिक्किम को छोड़कर पूरे उत्तर-पूर्व में बारिश कम हुई है।
– असम मेघालय और नगालैंड, मणिपुर, मिजोरम और त्रिपुरा में बारिश में कमी 37 और 32 फीसदी की है।
– वहीं, सिर्फ 11 फीसदी हिस्सा ऐसा है जहां कम बारिश हुई है। हालांकि देश के पूर्वी और उत्तर-पूर्वी क्षेत्र में कम बारिश का यह आंकड़ा 21 फीसदी है।
– अभी तक चार सब-डिवीजन ऐसे हैं जहां कम बारिश हुई है। इनमें गुजरात अंचल और सौराष्ट्र कच्छ शामिल हैं। सिक्किम को छोड़कर पूरे उत्तर-पूर्व में बारिश कम हुई है।
– असम मेघालय और नगालैंड, मणिपुर, मिजोरम और त्रिपुरा में बारिश में कमी 37 और 32 फीसदी की है।
मध्य प्रदेश : अब तक नॉर्मल से 63 फीसदी ज्यादा बारिश
– मध्यप्रदेश में इस मौसम में नॉर्मल से 63 फीसदी ज्यादा बारिश हो चुकी है। यानी राज्य में 21.18 सेमी नॉर्मल बारिश होना थी, जबकि 34.60 सेमी पानी बरस चुका है।
– राजधानी भोपाल में मानसून आने के 19वें दिन ही सीजन के कोटे 109 सेमी से आधी बारिश हो चुकी है।
– पूर्वी मप्र यानी जबलपुर, रीवा, सतना समेत आसपास के हिस्से में अब तक नॉर्मल से 71 फीसदी ज्यादा बारिश हुई है। यहां 40.88 सेमी पानी बरस चुका है।
– राजधानी भोपाल में मानसून आने के 19वें दिन ही सीजन के कोटे 109 सेमी से आधी बारिश हो चुकी है।
– पूर्वी मप्र यानी जबलपुर, रीवा, सतना समेत आसपास के हिस्से में अब तक नॉर्मल से 71 फीसदी ज्यादा बारिश हुई है। यहां 40.88 सेमी पानी बरस चुका है।
हरियाणा: सप्ताहभर अच्छी बारिश के आसार
– अपने दूसरे दौर में मानसून के सोमवार से हरियाणा में फिर एक्टिव होने के आसार हैं।
– वेदर डिपार्टमेंट का कहना है कि इससे प्रदेश में सप्ताह भर अच्छी बारिश हो सकती है। हालांकि अभी लोग उमसभरी गर्मी से बेहाल हैं।
– उस पर कई शहरों में अघोषित बिजली कटौती से और बुरा हाल है। हिसार में रविवार को मैक्सिमम टेम्प्रेचर 38 डिग्री तक पहुंच गया है।
– 12 से 14 जुलाई तक हरियाणा के उत्तर, दक्षिण-पश्चिम जिलों में जोरदार बरसात की पूरी संभावना है।
– वेदर डिपार्टमेंट का कहना है कि इससे प्रदेश में सप्ताह भर अच्छी बारिश हो सकती है। हालांकि अभी लोग उमसभरी गर्मी से बेहाल हैं।
– उस पर कई शहरों में अघोषित बिजली कटौती से और बुरा हाल है। हिसार में रविवार को मैक्सिमम टेम्प्रेचर 38 डिग्री तक पहुंच गया है।
– 12 से 14 जुलाई तक हरियाणा के उत्तर, दक्षिण-पश्चिम जिलों में जोरदार बरसात की पूरी संभावना है।
अब तक 17 लाख हेक्टेयर में बुवाई
– एक जून से 10 जुलाई तक हरियाणा में 83.1 मिलीमीटर बरसात हुई है, जबकि नाॅर्मल बरसात 86.5 मिलीमीटर होती है।
– 4% की इस कमी को वेदर साइंटिस्ट नॉर्मल बता रहे हैं। हालांकि, हिसार में 76, जींद में 67, रेवाड़ी में 52, भिवानी में 33, और महेंद्रगढ़ में सामान्य से 23% ज्यादा बारिश हुई है।
– प्रदेश में करीब 17 लाख हेक्टेयर में खरीफ की बुवाई हो चुकी है। इसमें 7 लाख हेक्टेयर में धान, 5.63 लाख हेक्टेयर में कपास, ग्वार, बाजरा, मक्की सहित अन्य फसलें हैं।
– 4% की इस कमी को वेदर साइंटिस्ट नॉर्मल बता रहे हैं। हालांकि, हिसार में 76, जींद में 67, रेवाड़ी में 52, भिवानी में 33, और महेंद्रगढ़ में सामान्य से 23% ज्यादा बारिश हुई है।
– प्रदेश में करीब 17 लाख हेक्टेयर में खरीफ की बुवाई हो चुकी है। इसमें 7 लाख हेक्टेयर में धान, 5.63 लाख हेक्टेयर में कपास, ग्वार, बाजरा, मक्की सहित अन्य फसलें हैं।
पश्चिमी यूपी : भारी बारिश की संभावना
– मौसम विभाग ने पश्चिमी यूपी में भी भारी बरसात की संभावना जताई है।
– ऐसे में उत्तर हरियाणा के यमुनानगर, अम्बाला, पंचकूला, कैथल, कुरुक्षेत्र करनाल और पानीपत जिलों में अच्छी बरसात हो सकती है।
– वहीं राजस्थान के साथ लगते जिलों में 11 से 16 जुलाई तक मानसून मेहरबान हो सकता है।
– इसी के साथ मानसून समूचे उत्तर भारत में पूरी तरह से छा जाएगा।
– ऐसे में उत्तर हरियाणा के यमुनानगर, अम्बाला, पंचकूला, कैथल, कुरुक्षेत्र करनाल और पानीपत जिलों में अच्छी बरसात हो सकती है।
– वहीं राजस्थान के साथ लगते जिलों में 11 से 16 जुलाई तक मानसून मेहरबान हो सकता है।
– इसी के साथ मानसून समूचे उत्तर भारत में पूरी तरह से छा जाएगा।
राजस्थान : पूर्वी हिस्सा जमकर भीगा
– दो दिन पहले फिर से एक्टिव हुए मानसून ने लगातार दूसरे दिन पूर्वी राजस्थान को भिगो दिया।
– अजमेर में 23.6 मिलीमीटर बारिश ने शहर को तर कर दिया।
– जयपुर में अब तक की सबसे ज्यादा 15.8 मिलीमीटर बरसात रिकॉर्ड की गई।
– वेदर डिपार्टमेंट ने अगले 24 घंटे में पूर्वी राजस्थान में भारी बारिश की चेतावनी दी है।
– झालावाड़ में बादल जमकर बरसे। चित्तौड़गढ़, भीलवाड़ा, कोटा, बारां में भी भारी बारिश हुई।
– जयपुर में अब तक की सबसे ज्यादा 15.8 मिलीमीटर बरसात रिकॉर्ड की गई।
– वेदर डिपार्टमेंट ने अगले 24 घंटे में पूर्वी राजस्थान में भारी बारिश की चेतावनी दी है।
– झालावाड़ में बादल जमकर बरसे। चित्तौड़गढ़, भीलवाड़ा, कोटा, बारां में भी भारी बारिश हुई।