यूक्रेन संकट: खाद्य तेल की कीमतों में उछाल, जाने क्या है दम
नई दिल्ली। यूक्रेन संकट: खाद्य तेल की कीमतों में उछाल, जाने क्या है दम, यूक्रेन में रूस की सैन्य कारवाई के अभी तीन दिन ही बीते है कि भारत में महंगाई का असर दिखने लगा है। अचानक से कढ़ाई में लगने वाला तड़का महंगा हो गया है। सरसों तेल को छोड़कर अन्य खाद्य तेल महंगाई की मार पड़ने लगी है। पामोलीन, सोयाबीन, सन फ्लावर खाद्य वेजिटेबल तेल 20 से 25 रुपये महंगे हो गए।
सोमवार से स्थिर होने के आसार
हालांकि, अंतरराष्ट्रीय मार्केट में तेल की कीमत घटने से सोमवार तक दिल्ली में भी भाव स्थिर होने की उम्मीद जताई जा रही है। यूक्रेन संकट की वजह से दिल्ली में रसोई का बजट बढ़ा हुआ है। दरअसल, यूक्रेन संकट से घरेलू बाजार में सूरजमुखी आयल की सप्लाई प्रभावित होने की आशंका जताई जा रही है। कुल खाद्य तेल में 8 प्रतिशत की भागीदारी सूरजमुखी तेल की है।
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इससे सूरजमुखी के तेल की कीमत बढ़ेगी और अन्य तेल पर भी इसका असर पड़ सकता है। दूसरी तरफ सरसों के तेल की बात करें तो इस बार सरसों की पैदावार बेहतर हुई है। लिहाजा अन्य खाद्य तेल के भाव में बढ़ोत्तरी को यह तेल कम कर सकता है। युद्ध शुरू होने के साथ ही खाद्य तेल में उछाल जरूर आया था। आशंका थी कि कही तीसरे महायुद्ध में ना तब्दील हो जाए।
इसकी संभावना जब बाजार में नहीं दिख रही है
तो सोमवार से खाद्य तेल के भाव में स्थिरता आ जाएगी। दरअसल अंतरराष्ट्रीय मार्केट पर ही वेजिटेबल आयल का भाव बढ़ता-घटता रहता है। पिछले तीन दिनों में अचानक से खाद्य तेल की कीमत में जरूर इजाफा हुआ। लेकिन, सोमवार से तेजी कम हो जाएगी। सरसों का फसल बेहतर होने से आने वाले दिनों में भी बहुत ज्यादा तेल की कीमत बढ़ने की उम्मीद नहीं है।