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क्यों? संतरा पानी पर तैरता है

पानीमें कौनसी चीज तैरेगी और कौनसी डूब जाएगी, इसे लेकर लोग जबाव दे भी दें तो भी उसकी वजह नहीं बता पाते हैं. दरअसल, पानी में डूबने वाली चीज का संबंध केवल उसके वजन से नहीं होता है, बल्कि उसके घनत्‍च से भी होता है इसलिए टनों वजनी लोहे का जहाज पानी में तैरता रहता है लेकिन छोटा सा कंकड़ पानी में डूब जाता है. आज हम पानी में डूबने और तैरने वाली एक ऐसी रोचक चीज के बारे में जानते हैं, जिसके बारे में आपने शायद ही कभी गौर किया हो.

यह रोचक चीज है संतरा. आपने यदि गौर किया हो तो देखा होगा कि संतरे को यदि पानी में डाला जाए तो ये आराम से तैरता रहता है लेकिन उसका छिलका हटा दिया जाए तो वह पानी में डूब जाता है. बिना छिलके के संतरे की एक कली भी पानी में तैर नहीं पाती है, वहीं छिलका सहित रहने पर पूरा का पूरा संतरा पानी में तैरता रहता है. जबकि छिलका हटने के बाद संतरे का वजन कम हो जाता है और इस लिहाज से बिना छिलके वाले संतरे को पानी में तैरना चाहिए, लेकिन ऐसा नहीं होता है.

दरअसल, छिलके का वजन उसके घनत्‍व की तुलना में कम होता है. इसके अलावा छिलके के अंदर संतरे में छेद भी होते हैं और उसके रेसों में रस भरा रहता है, इस कारण उसके घनत्‍व की तुलना में वजन ज्‍यादा हो जाता है. ऐसे में छिला हुआ संतरा पानी में डालते ही डूब जाता है.

यहां तक कि संतरे के जूस में भी जब संतरे की छिलके सहित कटी हुई गोल फांक डाली जाती है तो वह भी तैरती रहती है. इसके पीछे भी यही कारण है कि उसका घनत्‍व उसके वजन की तुलना में ज्‍यादा रहता है. इसे आर्किमिडीज के सिद्धांत से आसानी से समझ सकते हैं, जिसमें कहा गया है कि किसी भी वस्तु को पानी पर तैरने के लिए, वस्तु के वजन के बराबर पानी की मात्रा को विस्थापित करना होता है. यदि वह चीज उतना पानी हटा दे तो आराम से पानी में तैरने सकती है.

 

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