कमिश्नर ने महामारी की तीसरी लहर से निपटने की तैयारी जानी
कुशीनगर । कमिश्नर ने शनिवार को कलेक्ट्रेट सभागार में अफसरों के साथ बैठक की। उन्होंने मुख्य जोर कोविड महामारी और इंसेफेलाइटिस की रोकथाम को लेकर तैयारियों पर रहा। इसके बाद उन्होंने अन्य विभागों के अफसरों से भी उनकी प्रगति के बारे में जानकारी ली। बैठक गोरखपुर के कमिश्नर रवि कुमार एनजी की अध्यक्षता में हुई। इस बैठक में कोविड-19 वैक्सीन की स्थिति तथा जापानी इंसेफेलाइटिस को लेकर चर्चा की गई।
डीएम एस. राजलिंगम ने कोविड-19 से संबंधित टीकाकरण, ऑक्सीजन प्लांट तथा इंसेफेलाइटिस से निपटने की तैयारी के बारे में कमिश्नर को जानकारी दी। कमिश्नर ने सीएमओ से पूछा कि ऑक्सीजन पाइपलाइन का कार्य शुरू हुआ है कि नहीं। जनरेटर के बारे में भी उन्होंने सीएमओ से स्थिति स्पष्ट करने को कहा। उन्होंने सीएमओ को निर्देश दिया कि जल्द से जल्द जनरेटर के लिए टेंडर एवं आवश्यक कदम उठाए जाएं। उन्होंने कहा कि कोविड की तीसरी लहर की संभावना को देखते हुए अभी से तैयार रहने की जरूरत है। जहां कोविड से बचाव के लिए इक्विपमेंट की आवश्यकता है, उसे समय रहते उपलब्ध कराएं।
कमिश्नर ने कहा कि हमें कोविड के घटते केस को देखकर यह लगता है कि वह चला गया है और लापरवाही शुरू हो जाती है, लेकिन हमें आने वाली चुनौतियों से निपटने के लिए अपनी तैयारी पूरी रखनी चाहिए। उन्होंने आवश्यक रणनीतियों पर भी चर्चा की। कमिश्नर ने जनपद के अस्पतालों की स्थिति के बारे में भी पूछताछ की तथा ऑक्सीजन पाइपलाइन के लिए कनेक्टिविटी के बारे में जानकारी ली।
उन्होंने स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं एवं फ्रंटलाइन वर्कर्स के शत प्रतिशत टीकाकरण का निर्देश दिया। उन्होंने विशेष समुदाय एवं मुसहर समुदायों के लोगों के बीच टीकाकरण की रणनीति पर भी चर्चा की। कहा कि शून्य टीकाकरण कहीं नहीं होना चाहिए। शून्य टीकाकरण का मतलब यह निकलता है कि आपके पास कार्ययोजना की कमी है। उन्होंने क्षेत्रवार रणनीति अपनाकर टीकाकरण करने को कहा।
कमिश्नर ने एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम तथा जापानी इंसेफेलाइटिस के संदर्भ में किसी भी प्रकार की लापरवाही न बरतने का निर्देश दिया। हर दिन कितने बच्चे भर्ती हुए हैं, कितने डिस्चार्ज हुए हैं, स्थिति क्या है, इसका डाटा बनाएं। मरीज के परिवार से निरंतर संवाद बनाकर रखें। उन्होंने सीडीओ की अध्यक्षता में एक कमेटी बनाए जाने तथा हर ब्लॉक में चार लोगों की टीम को सक्रिय करने के निर्देश दिए, जिसमें एमओआईसी, सीडीपीओ, बीडियो इत्यादि रहेंगे। तालाबों या अन्य जगहों पर जलभराव होने पर निरंतर फागिंग एवं एंटी लार्वा का छिड़काव किए जाने का निर्देश डीपीआरओ तथा एडीएम को दिया।