कब कौन जाएगा , सबकी डेट फिक्स है…

सहारनपुर – उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले सियासी पारा चढ़ा हुआ है. इस बीच भाजपा से इस्तीफा देने वाले सहारनपुर के विधायक और आयुष मंत्री डॉ धर्म सिंह सैनी ने बड़ा बयान दिया है. उन्होंने कहा कि 5 सालों तक दलितों का शोषण होता रहा और केवल एक विशेष वर्ग को महत्व दिया जाता रहा. इसके साथ उन्होंने कहा कि यूपी में और संख्या में मंत्रियों के इस्तीफे होंगे. कल यानी शुक्रवार को सुबह ही एक मंत्री इस्तीफा देगा.
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यही नहीं, डॉ धर्म सिंह सैनी ने साथ ही दावा किया है कि सब की डेट फिक्स हो गयी है. कौन कब इस्तीफा देगा. जबकि आज मेरा दिन था. वहीं, उन्होंने कहा कि मैं नाम नहीं बताऊंगा, लेकिन बड़ी संख्या में समाजवादी पार्टी में मंत्री आने वाले हैं. भाजपा आज पूरी तरह से बैकफुट पर है. साथ ही कहा कि पार्टी में जिन विधायकों के टिकट काटे जा रहे थे उन्हें भाजपा वापस टिकट देकर मनाने में लगी है.
मुझे भी दिया गया आश्वासन इसके साथ सैनी ने कहा, ‘मुझे भी आश्वासन दिया गया था कि सम्मान दिया जाएगा, लेकिन 5 वर्ष में जब आश्वासन मिलने के बाद भी सम्मान नहीं मिला तो मैंने इस्तीफा देने का फैसला लिया. साथ ही कहा कि 10 मार्च को रिजल्ट बताएगा, हम कमजोर हैं या ताकतवर. वहीं, उन्होंने कहा कि हम दलितों के लिए राजनीति करते हैं और हम उनके हर सुख दुख में साथ हैं. हम सब पिछड़ों की वकालत करते हैं. मैं केवल यही कहूंगा कि अब पूरी तरह से परिवर्तन हो चुका है.
सैनी पर मंत्री नंद गोपाल नंदी का निशाना . इस बीच मंत्री नंद गोपाल नंदी ने डॉ धर्म सिंह सैनी पर निशाना साधा है. उन्होंने एक वीडियो शेयर करते हुए कहा कि कथनी और करनी में अंतर या गिरगिट की तरह रंग बदलने वाले मुहावरे का प्रैक्टिकल देखना हो तो धरम सिंह सैनी का दो दिन पहले का वीडियो और आज की अखिलेश यादव के साथ की तस्वीर देख लीजिए.
अपनी खुद की सीट खतरे में है तो नाखून कटा के शहीद होने का ढोंग रचा जा रहा है. इसके साथ साथ कहा कि जनता सब देख रही है और सब समझ रही है. अपनी विधानसभा की जनता के बीच कौन सा मुंह लेकर जायेंग. प्रदेश की जनता सबक सिखाने के लिए कमर कस चुकी है और आने वाले 10 मार्च को स्वार्थी और मौकापरस्त लोगों का बोरिया बिस्तर समेट देगी.
डॉ धर्म सिंह सैनी ने इस्तीफे में लिखी ये बात , ‘मैंने आयुष मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) के रूप में रहकर पूर्व मनोयोग के साथ उत्तरदायित्वों का निर्वहन किया, लेकिन जिन अपेक्षाओं के साथ दलितों, पिछड़ों, किसानों, शिक्षित बेरोजगारों, छोटे एंव मध्यम श्रेणी के व्यापारियों ने मिलकर भाजपा की प्रचण्ड बहुमत से सरकार बनाने का काम किया, उनकी एवं उनके जनप्रतिनिधियों के प्रति लगातार हो रहे उपेक्षात्तक रवैये के कारण मैं यूपी मंत्रिमंडल से इस्तीफा देता हूं.’